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हर प्रकार की प्रशंसा और गुणगान केवल अल्लाह तआला के लिए योग्य है।.
हर प्रकार की प्रशंसा और गुणगान केवल अल्लाह के लिए योग्य है।सर्व प्रथम :
अगर कोई औरत एक बेटा,एक बेटी,माँ,बाप,पति,पति की माँ और पति के बाप को छोड़ कर मर जाए,तो उसके छोड़े हुए धन (वरासत) को निम्न प्रकार विभाजित किया जायेगा :
पिता के लिए : छठा हिस्सा, तथा माँ के लिए: छठा हिस्सा ;क्योंकि अल्लाह तआला का फरमान है :
وَلِأَبَوَيْهِ لِكُلِّ وَاحِدٍ مِنْهُمَا السُّدُسُ مِمَّا تَرَكَ إِنْ كَانَ لَهُ وَلَدٌ [النساء : 11] .
“तथा उसके माता पिता के लिए उन में से प्रत्येक के लिए छठा हिस्सा है उसकी छोड़ी हुई संपत्ति में से यदि उसकी कोई औलाद है।” (सूरतुन्निसा : 11)
तथा पति के लिए : चौथाई हिस्सा है ;क्योंकि अल्लाह तआला का फरमान है :
فَإِنْ كَانَ لَهُنَّ وَلَدٌ فَلَكُمُ الرُّبُعُ مِمَّا تَرَكْنَ [النساء : 12] .
“यदि उनकी कोई औलाद है तो तुम्हारे लिए उनकी छोड़ी हुई संपत्ति में से चौथाई हिस्सा है।” (सूरतुन्निसा : 12)
तथा बेटे और बेटी के लिए शेष बचा हुआ मीरास है ; बेटे के लिए दो बेटियों के बराबर हिस्सा है ;क्योंकि अल्लाह तआला का फरमान है :
يُوصِيكُمُ اللَّهُ فِي أَوْلَادِكُمْ لِلذَّكَرِ مِثْلُ حَظِّ الْأُنْثَيَيْنِ [النساء : 11] .
अल्लाह तआला तुम्हें तुम्हारी औलाद के बारे में वसीयत करता है कि बेटे के लिए दो बेटियों के समान हिस्सा है।” (सूरतुन्निसा : 11)
तथा उसके पति की माँ और उसके पिता के लिए कोई हिस्सा नहीं है ; इसलिए कि वे दोनों उसके वारिसों में से नहीं हैं।
दूसरा :
यदि कोई आदमी एक बेटा,एक बेटी,पिता,माँ,पत्नी तथा पत्नी की माँ और पत्नी के पिता को छोड़ कर मर गया तो उसकी वरासत को निम्न प्रकार से विभाजित किया जायेगा :
पिता के लिए : छठा हिस्सा,तथा माँ के लिए: छठा हिस्सा ;क्योंकि अल्लाह तआला का फरमान है :
وَلِأَبَوَيْهِ لِكُلِّ وَاحِدٍ مِنْهُمَا السُّدُسُ مِمَّا تَرَكَ إِنْ كَانَ لَهُ وَلَدٌ [النساء : 11] .
“तथा उसके माता पिता के लिए उन में से प्रत्येक के लिए छठा हिस्सा है उसकी छोड़ी हुई संपत्ति में से यदि उसकी कोई औलाद है।” (सूरतुन्निसा : 11)
तथा पत्नी के लिए : आठवाँ हिस्सा है ;क्योंकि अल्लाह तआला का फरमान है :
فَإِنْ كَانَ لَكُمْ وَلَدٌ فَلَهُنَّ الثُّمُنُ مِمَّا تَرَكْتُمْ [النساء : 12] .
“यदि तुम्हारी कोई औलाद है तो उनके लिए तुम्हारी छोड़ी हुई संपत्ति में से आठवाँ हिस्सा है।” (सूरतुन्निसा : 12)
तथा बेटे और बेटी के लिए शेष बेच हुआ मीरास है ; बेटे के लिए दो बेटियों के बराबर हिस्सा है ; क्योंकि अल्लाह तआला का फरमान है :
يُوصِيكُمُ اللَّهُ فِي أَوْلادِكُمْ لِلذَّكَرِ مِثْلُ حَظِّ الْأُنْثَيَيْنِ [النساء : 11] .
“अल्लाह तआला तुम्हें तुम्हारी औलाद के बारे में वसीयत करता है कि बेटे के लिए दो बेटियों के समान हिस्सा है।” (सूरतुन्निसा : 11)
तथा उसकी पत्नी की माँ और उसके पिता के लिए कोई हिस्सा नहीं है ;इसलिए कि वे दोनों उसके वारिसों में से नहीं हैं।