शुक्रवार 17 शव्वाल 1445 - 26 अप्रैल 2024
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उसके बेटे की मृत्यु उससे पहले हो गई, फिर वह बेटे की संपत्ति के बँटवारे से पहले मर गई, तो क्या उसके वारिसों का अधिकार समाप्त हो जाएगाॽ

प्रश्न

मेरे भाई की मृत्यु हो गई और उसने अपनी मृत्यु के समय : मेरी माँ, पत्नी, बेटे और बेटियाँ छोड़ीं। उसकी संपत्ति विभाजित नहीं हुई। उसके बाद मेरी माँ की मृत्यु हो गई और उन्होंने : तीन बेटे और दो बेटियाँ छोड़ीं।

प्रश्न यह है कि : क्या मेरे भाई रहिमहुल्लाह की संपत्ति से मेरी माँ रहिमहल्लाह को प्राप्त होने वाली विरासत में हमारा अधिकार हैॽ

इसके अलावा, मैंने अपनी माँ की विरासत से अपने हिस्से को अपने भाई रहिमहुल्लाह  के बेटों को देने का इरादा किया था, लेकिन उसके बाद मैंने यह इरादा त्याग कर दिया।

क्या इस इच्छा परिवर्तन का मुझपर कोई पाप हैॽ

उत्तर का पाठ

हर प्रकार की प्रशंसा और गुणगान केवल अल्लाह तआला के लिए योग्य है।.

अपने जीवन में अपने मृत बेटे की संपत्ति के विभाजन से पहले माँ की मृत्यु : संपत्ति में उसके अधिकार को समाप्त नहीं करती है; क्योंकि उसके उससे विरासत पाने के हक़दार होने की शर्त पूरी हो चुकी है : मुवर्रिस यानी विरासत के दाता की मृत्यु और वारिस का जीवन।

अधिक जानकारी के लिए प्रश्न संख्या : (196671 ) का उत्तर देखें।

अतः अब मृत बेटे की संपत्ति का बँटवारा किया जाएगा, और माँ के लिए उसका हिस्सा ऐसे विभाजित किया जाएगा, मानो वह जीवित हो : उस (मृत बेटे) ने जो कुछ भी छोड़ा है उसका छठा हिस्सा।

फिर जो कुछ उसे अपने बेटे से विरासत में मिला है, उसे उस धन में शामिल कर दिया जाएगा, जो (स्वयं) उसने छोड़ा है, अगर उसने उसके अलावा कुछ और छोड़ा है। और यह सब उसके मरने के बाद उसकी संपत्ति बन जाएगी। इसलिए उसे उपर्युक्त वारिसों : तीन बेटों और दो बेटियों में विभाजित कर दिया जाएगा; पुरुष को दो महिलाओं के हिस्से के बराबर मिलेगा।

जहाँ तक विरासत में अपने अधिकार को अपने भतीजों के लिए त्यागने, फिर उससे पीछे हटने के मुद्दे का संबंध है, तो इसके बारे में आपपर कुछ भी अनिवार्य नहीं है, और इसके कारण आपको कोई पाप नहीं लगेगा; क्योंकि इस मामले में अधिक से अधिक बात यह है कि आपने इरादा किया था, और अधिकांश विद्वानों के मतानुसार उपहार (अनुदान) केवल क़ब्ज़ा करने पर अनिवार्य होता है।

और अल्लाह तआला ही सबसे अधिक ज्ञान रखता है।

स्रोत: साइट इस्लाम प्रश्न और उत्तर